Chanakya Niti : आज के जमाने में लड़कों की शादी के लिए गुणों और चरित्र पर ध्यान नहीं देकर लड़की की सुंदरता पर ध्यान दिया जाता है। लड़की के अवगुणों को अनदेखा कर सुंदर लड़की से शादी करने वाले लोग बाद में पछताते देखे गए है। शादी के कुछ समय बाद ही उनका जीवन नरक बन जाता है। ऐसे में अधिकांश लोगों का तलाक हो जाता है या फिर वे घुट-घुटकर जीवन जीने पर मजबूर हो जाते है।
इसलिए व्यक्ति को शादी करते वक्त लड़की और लड़के के चरित्र और गुणों को अनदेखा नहीं करना चाहिए। कई शास्त्रों में बताया गया है कि सुखी वैवाहिक जीवन के लिए बेहतर जीवन साथी किस तरह चुना जाए। आचार्य चाणक्य ने सैकड़ों वर्ष पूर्व ही बता दिया कि लड़कों को किस तरह की लड़की से शादी करनी चाहिए। शादी-विवाह करते वक्त किस बात पर सबसे अधिक ध्यान दिया जाना चाहिए।
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ऐसी लड़की से करना चाहिए विवाह
राजनीति, अर्थशास्त्र व नीतिशास्त्र के महान ज्ञाता आचार्य चाणक्य ने बताया कि बुद्धिमान व्यक्ति को चाहिए कि वह श्रेष्ठ कुल में पैदा हुई कुरूप अर्थात सौंदर्यहीन कन्या से भी विवाह कर लें। परंतु भूलकर भी नीच कुल में उत्पन्न हुई सुंदर कन्या से विवाह नहीं करें।
आचार्य चाणक्य आगे बताते है कि शादी-विवाह के लिए सुंदर लड़की देखी जाती है। लड़की की सुंदरता के आगे लोग न लड़की के गुणों को देखते है, न ही उसके कुल को। ऐसी लड़की से विवाह करना सदा ही दुखदायी होता है। क्योंकि नीच कुल की कन्या के संस्कार भी नीच ही होंगे। उसके सोचने, बातचीत करने या उठने-बैठने का स्तर भी निम्न होगा। जबकि उच्च और श्रेष्ठ कुल में जन्म लेने वाली लड़की का आचरण अपने कुल के अनुसार ही श्रेष्ठ होगा, भले की वह लड़की सांवली हो। ऐसी लड़की जो भी कार्य करेगी, उससे आपके कुल का मान बढ़ेगा और नीच कुल की लड़की अपने व्यवहार से परिवार की प्रतिष्ठा ही बिगाड़ेगी।
किस परिवार से जोड़ना चाहिए शादी-विवाह का रिश्ता
आचार्य चाणक्य ने एक श्लोक में बताया है कि शादी-विवाह का रिश्ता हमेशा अपनी हैसिरत वाले श्रेष्ठ परिवार से जोड़ना चाहिए। श्रेष्ठ परिवार से तात्पर्य परिवार के चरित्र से है। आचार्य ने बताया कि अपने से अधिक धनी परिवार की लड़की से शादी करने पर पति रोज-रोज लड़की की महंगी डिमांड को पूरा नहीं कर पाएगा। जो परिवार में क्लेश का कारण बनेगा। वहीं दूसरी ओर अपने से निम्न परिवार की लड़की से शादी करने पर वह अपने व्यवहार के कारण घर से बाहर होने वाले समारोह में आपको नीचा दिखाने का कार्य करेगी। हालांकि आचार्य ने अपने एक श्लोक में कहा है कि नीच कुल में पैदा होने वाली अच्छे गुणों से युक्त स्त्री रूपी रत्न को ग्रहण कर लेना चाहिए।
चंचल स्वभाव वाली लड़कियों से नहीं करें विवाह
आचार्य चाणक्य ने बताया है कि सुखी वैवाहिक जीवन के लिए व्यक्ति को चंचल स्वभाव लड़कियों से शादी करने से बचना चाहिए। आचार्य कहते है कि चंचल स्वभाव वाली लड़कियां पर विश्वास नहीं करना चाहिए। ऐसी लड़की अपनी चतुरता से कभी भी आपके लिए प्रतिकूल परिस्थितियां पैदा कर सकती है। ऐसे अनेक उदाहरणों से प्राचीन ग्रंथ भरे पड़े है।
गुणों से युक्त स्त्री घर की शोभा
आचार्य चाणक्य बताते है कि गुणों से युक्त स्त्री से ही घर की शोभा बढ़ती है। ऐसी स्त्री अपने सद्गुणों से घर की मर्यादाओं और कर्तव्यों का पालन करते हुए परिवार का मान बढ़ाती है।
कैसे पहचाने कौन है श्रेष्ठ पत्नी
आचार्य चाणक्य ने कहा है कि पति के लिए वहीं पत्नी उपयुक्त होती है, जो मन, वचन और कर्म से एक जैसी हो और अपने कार्योँ में निपुण हो। इसके साथ ही वह अपने पति से प्रेम रखने वाली तथा सत्य बोलने वाली होनी चाहिए। ऐसी स्त्री को ही श्रेष्ठ पत्नी माना गया है। इसके विपरित आचरण वाली पत्नी काे विष के समान त्याग देना चाहिए। आचार्य ने एक श्लोक में कहा है कि हर समय क्रोध करने वाली पत्नी को भी छोड़ देना चाहिए।
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