रोजाना 3 मीटर से ऊंचे शिवलिंग की 40 वर्ष तक सेवा करने वाले शिवभक्त श्री कृष्ण भट्ट का निधन

    हम्पी के बादावी लिंग मंदिर के गर्भ गृह की छत में कई छेद हैं। ये छेद बहमनी के सुल्तानों के इस्लामिक आक्रमण के कारण बन गए थे। इसी कारण मंदिर में 500 सालों तक पूजा-पाठ नहीं हो सकी। 1980 के दौरान मंदिर में पूजा प्रारंभ हुई। इन्हीं छेदों के कारण मंदिर के गर्भ गृह में सूर्य का प्रकाश आता रहता है।

    - Advertisement -
    - Advertisement -

    हम्पी: रोजाना 3 मीटर से ऊंचे शिवलिंग की सेवा पूजा करने वाले शिवभक्त श्री कृष्ण भट्ट (Sri Krishna Bhat) का रविवार को निधन हो गया। भट्ट ने कर्नाटक के हम्पी में बादावी लिंग मंदिर में 40 साल तक पुजारी के रूप में भगवान शिव की सेवा की। विश्व हिंदू परिषद के सदस्य गिरीश भारद्वाज ने ट्विटर पर श्री कृष्ण भट्ट के निधन की जानकारी दी। ईश्वर के प्रति समर्पण और सनातन धर्म के प्रति समर्पण वाली उनकी फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। इन फोटोज में श्री कृष्ण भट्ट को शिवलिंग की सेवा करते हुए दिखाया गया है।

    यह भी पढ़ें : Corona: सावधान ये 5 लक्षण शरीर में दिखाई दें, तो नजरअंदाज नहीं करें

    94 वर्षीय श्री कृष्ण भट्ट कर्नाटक में शिवमोग्गा जिले के तीर्थहल्ली तालुक के एक गांव से थे। पहले वे हम्पी के सत्यनारायण मंदिर में पुजारी थे। बाद में उन्हें अंगुंडी शाही परिवार द्वारा हम्पी में बादावी लिंग मंदिर का पुजारी बनाया गया। भट्ट पिछले 40 वर्षों से लगातार इस शिव मंदिर की सेवा कर रहे थे। वह शाम तक मंदिर में रहकर सेवा करते थे।

    बादावी के शिव मंदिर और श्री कृष्ण भट्ट के बारे में सबसे खास बात यह थी कि भट्ट 3 मीटर ऊंचे शिवलिंग में चढ़ते थे और उसे साफ करते थे। मंदिर हमेशा पानी से भरा रहता था और शिवलिंग की सफाई के लिए कोई सीढ़ी या कोई साधन नहीं था। ऐसी स्थिति में भट्ट शिवलिंग पर चढ़ते और भस्म आदि चढ़ाते। यह उनकी दिनचर्या में शामिल था।

    https://twitter.com/Girishvhp/status/1386165821085339652?s=20

    हम्पी में विरुपाक्ष मंदिर के वरिष्ठ पुजारी शिव भट्ट ने बताया कि शिवलिंग पर चढ़ने के अलावा और कोई तरीका नहीं था। कोई इसे अशुद्धता से नहीं जोड़ सकता, क्योंकि यह श्रद्धा और समर्पण से जुड़ा मामला है। बदावी का लिंग मंदिर 15 वीं शताब्दी में विजयनगर के राय वंश द्वारा बनाया गया था।

    यह भी पढ़ें : पीएम माेदी ने Mann Ki Baat में दी हाैसले की झप्पी, कहा- कोरोना वैक्सीन पर अफवाहों के झांसे में न आएं

    हम्पी के बादावी लिंग मंदिर के गर्भ गृह की छत में कई छेद हैं। ये छेद बहमनी के सुल्तानों के इस्लामी आक्रमण के कारण बन गए थे। इस कारण 500 वर्षों तक मंदिर में पूजा नहीं हो सकी। मंदिर में पूजा 1980 के दौरान शुरू हुई थी। इन छेदों के कारण मंदिर के गर्भ गृह में सूर्य की रोशनी आती रहती है। इससे निकलने वाली लुभावनी धुंध मंदिर में भक्तों को आकर्षित करती है।

    - Advertisement -
    News Post
    News Posthttps://newspost.in
    हिन्दी समाचार, News in Hindi, हिन्दी न्यूज़, ताजा समाचार, राशिफल, News Trend. हिन्दी समाचार, Latest News in Hindi, न्यूज़, Samachar in Hindi, News Trend, Hindi News, Trend News, trending news, Political News, आज का राशिफल, Aaj Ka Rashifal, News Today

    Latest news

    - Advertisement -

    Related news

    - Advertisement -